बॉयज हास्टल में फंदे से लटकता मिला छात्र का शव
सुल्तानपुर के गोसाईंगंज केएनआईपीएसएस के बॉयज हास्टल में एक छात्र का शव पंखे से लटकता मिला। वार्डेन की सूचना पर पहुंची पुलिस की मौजूदगी में दरवाजे को तोड़कर शव को फंदे से उतारा गया।
बिहार के रोहतास जिले के करहागढ़ थाना क्षेत्र के बिलारी सिलारी निवासी बलिराम सिंह का बेटा बाल्मीकी सिंह गोसाईंगंज थाना क्षेत्र के फरीदीपुर स्थित केएनआईपीएसएस से बीएससी एजी की पढ़ाई कर रहा था। वह तृतीय वर्ष का छात्र था। वह कॉलेज के रायल हॉस्टल के द्वितीय तल पर राकेश और प्रभाकर के साथ रहता था।
सुबह करीब साढ़े 10 बजे हॉॅस्टल के छात्र बाल्मीकी के कमरे के पास पहुंचे तो दरवाजा अंदर से बंद मिला। कई बार आवाज देने के बाद भी दरवाजा नहीं खुला। छात्रों ने इसकी सूचना वार्डेन बृजेश कुमार सिंह को दी।
सूचना मिलते ही वार्डेन भी मौके पर पहुंच गए और हॉस्टल की बालकनी पर जाकर खिड़की से कमरे में झांका तो बाल्मीकी का शव पंखे में गमझे के सहारे लटक रहा था। वार्डेन की सूचना पर पहुंची पुलिस ने दरवाजा तोड़कर कमरे को खोला और फंदे से शव को नीचे उतारा। पुलिस ने पोस्टमॉर्टम कराकर शव परिजनों को सौंप दिया।
हॉस्टल के वार्डेन बृजेश सिंह ने बताया कि जिस कमरे में बाल्मीकी रहता था, उसमें रहने वाले राकेश और प्रभाकर अपने-अपने घर किसी जरूरी काम से चले गए। कमरे में सिर्फ बाल्मीकी ही था। वह रात में साढ़े नौ बजे भोजन करके कमरे में सोने चला गया था।
बाल्मीकी के शव का पोस्टमार्टम जिला अस्पताल में किया गया। चिकित्सक ने बताया कि फांसी लगाने से मौत हुई है।
कॉलेज प्रशासन की ओर से छात्र की मौत की सूचना के बाद बिहार के बिलारी सिलारी गांव से पहुंचे अमन सिंह ने बताया कि बाल्मीकी उनका छोटा भाई था। परिवार में मां पुष्पा और पिता बलिराम हैं। बाल्मीकी 22 अप्रैल को घर से कॉलेज आया था। उसकी 21 मई से परीक्षा होनी थी। अभी दो दिन पहले ही पापा ने बाल्मीकी से फोन पर बात की थी। उस समय वह ठीक था। ये सब कैसे हो गया, पता नहीं।