भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई के खिलाफ मानहानि का मामला दर्ज

भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई के खिलाफ असम की एक स्थानीय अदालत में मानहानि का मामला दायर किया गया है। सामाजिक कार्यकर्ता और असम पब्लिक वर्क्स के अध्यक्ष अभिजीत शर्मा ने यह याचिका दाखिल की है। इसमें उन्होंने एक करोड़ रुपये की मानहानि का दावा करते हुए पूर्व सीजेआई की आत्मकथा पर रोक लगाने की मांग की है। इस याचिका में आत्मकथा के प्रकाशक पर भी आरोप लगाए गए हैं।

कामरूप मेट्रो जिला अदालत में दाखिल याचिका में अभिजीत शर्मा ने कहा है कि पूर्व सीजेआई रंजन गोगोई और उनकी आत्मकथा ‘जस्टिस फॉर ए जज’ में उनके खिलाफ कथित भ्रामक और मानहानिकारक बातें लिखी गई हैं। इसके लिए उन्होंने आत्मकथा के प्रकाशक रूपा पब्लिकेशन को भी याचिका में शामिल किया है। साथ ही अपनी याचिका में उन्होंने पूर्व सीजेआई और उनके प्रकाशक को ऐसी किसी भी पुस्तक के प्रकाशन, वितरण या बिक्री से रोकने के लिए एक अंतरिम निषेधाज्ञा की मांग भी की है।

उनकी याचिका पर मंगलवार को सुनवाई की गई थी, जिसके बाद बुधवार को अदालत ने अपने फैसले में कहा कि याचिका और उससे संबंधित दस्तावेजों को देखने के बाद सामने आया है कि इसमें कानून और तथ्यों दोनों पर ठोस सवाल खड़े होते हैं जिस पर फैसला किया जाना है। फिलहाल अदालत ने याचिकाकर्ता और प्रतिवादी दोनों को समन जारी किया है। साथ ही मामले को अगली सुनवाई के लिए तीन जून की तारीख तय की है। वहीं, अंतरिम निषेधाज्ञा की मांग को लेकर न्यायाधीश ने कहा कि यह पाया गया कि यह मामला आकस्मिक नहीं था। ऐसे में विरोधी पक्षों को सुने बिना कोई एकतरफा आदेश नहीं दिया जा सकता।

 

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