समधी-समधन के परवान चढ़ते प्यार को समाज ने मान्यता नहीं दी तो आहत होकर ट्रेन के आगे लेट कर दे दी जान 

हरदोई: कहते हैं की मोहब्बत में प्यार, रिश्ते और उम्र मायने नहीं रखते। ऐसी ही एक प्रेम कहानी हरदोई जिले में प्रेमी युगल समधी-समधन के बीच शुरू हुई। आखिरकार इसका अंजाम दोनों की मौत के रूप में सामने आया।

समधी-समधन के बीच परवान चढ़ते प्रेम को जब जमाने ने मान्यता नहीं दी, तो रोज-रोज की टोका-टाकी से आहत होकर दोनों ने ट्रेन के आगे लेट कर जान दे दी। मामला इलाके भर में चर्चा का विषय बना हुआ है। पिहानी कोतवाली पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए हरदोई भेजा हैं

लखीमपुर खीरी जनपद के थाना पसिगवां निवासी रामनिवास  पुत्र जदुनाथ हरदोई जहानीखेड़ा रूट पर प्राइवेट बस का चालक है। पंद्रह वर्ष पहले उसकी पत्नी का निधन हो गया था। एक पुत्री चांदनी थी, जिसका विवाह उसने दस माह पहले ही गांव मुबारकपुर निवासी शिवम पुत्र आशाराम के साथ किया था।

शादी के बाद से राम निवास का प्रेम संबंध अपनी समधन आशारानी पत्नी आशाराम के साथ हो गया। दोनों चोरी छुपे एक दूसरे मिलने लगे। परिजनों को भनक लगी, तो दोनों को टोका-टाकी करने लगे। इससे दोनों काफी आहत थे। जमाने ने प्रेम को मान्यता नहीं दी, तो दोनों ने एक साथ मरने की ठान ली।

दो-तीन दिन पहले ही घर से फरार होकर रविवार की भोर दोनों सीतापुर-शाहजहांपुर रेलवे लाइन पर लेट गए और एक साथ ट्रेन से कट कर जान दे दी। सूचना पाकर जहानीखेड़ा चौकी इंचार्ज रमानंद मिश्रा फोर्स के साथ मौके पर पहुंच गए। घटनास्थल पर काफी भीड़ जमा हो गई। हर एक के लब पर दोनों के अजीब प्रेम की अधूरी कहानी है।

 

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